उत्तराखंड के इस गाँव में बाहरी लोगों को जमीन बेचना पुर्णतः प्रतिबंधित

by intelliberindia

टिहरी: जब कहीं सी आस नजर नहीं हैं, तब खुद की कदम उठाने पड़ते हैं। उत्तराखंड में भूल निवास और भू-कानून का मामला लगातार चर्चाओं में है। इसकी मांग सालों से होती आ रही है। लेकिन, आज तक कोई सरकार पिछले 22-24 सालों में इस पर फैसला नहीं ले पाई। नतीजतन बाहरी लोगों ने उत्तराखंड को अपना बना लिया और धीरे-धीरे अब उत्तराखंडियों की जमीन से लेकर मूल अधिकारों पर तक उनका कब्जा होता जा रहा है। सरकारी नौकरियों से लेकर पहाड़ के संसाधनों पर तक बाहरी लोग आकर काबिज हो गए हैं। भेनंगी गांव के ग्रामीणों ने ग्रामीणों नें बाहरी लोगों को अपनी जमीनें नहीं बेचने का फैसला लिया है। उनकी इस मुहीम से DM भी खुश हैं।

जागरूक हो रहे ग्रामीण

अब ग्रामीण क्षेत्रों में लोग खुद ही जागरूक होते हुए नजर आ रहे हैं। लोगों को लगने लगा है कि सरकारें कुछ करने वाली नहीं हैं, ऐसे में उनको कुछ ही बड़ा कदम उठाना होगा। टिहरी जिले के प्रतापनगर ब्लॉक के भेंनगी गांव के ग्रामीणों ने खुद ही फैसला लिया है कि अब वहां किसी को भी अपनी जमीन नहीं बेचने देंगे।

गांव के बाहर लगाया बोर्ड

इसके लिए गांव के मुख्य द्वार पर एक बड़ा बोर्ड लगा दिया गया है। बोर्ड में साफ लिखा है की जमीन बेचने के लिए बिचौलिए गांव में प्रवेश न करें, जो भी जमीन बेचने की कोशिश करेगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

भूमाफिया की जमीनों पर नजर

टिहरी बांध के बनने के बाद टिहरी जिले में जमीनों की खरीद-फरोख्त का धंधा पिछले 10 सालों में बहुत तेजी से बढ़ा है। अब भूमाफिया और बड़ी-बड़ी कंपनियों के लोग भोले भाले ग्रामीणों को प्रलोभन देकर उनकी जमीन को औने-पौने दामों में खरीद रहे हैं. इससे यहां की डेमोग्राफी में भी परिवर्तन आ रहा है।

बिचौलियों पर भी होगी कार्रवाई

बैठक में निर्णय लिया है कि कोई भी व्यक्ति अपनी पैतृक जमीन को बाहरी लोगों को नहीं बेचेगा. साथ ही गांव अथवा आसपास के क्षेत्र का कोई बिचौलिया यदि ऐसा करते हुए पाया गया, तो ग्राम पंचायत में पारित प्रस्ताव के अनुसार उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

DM को भाई ग्रामीणों की मुहिम 

वहीं, ग्रामीणों की इस मुहिम को टिहरी के DM मयूर दीक्षित ने भी सराहा है। उन्होंने कहा कि ग्रामीणों की ओर से अपनी जमीनों की सुरक्षा के लिए अच्छी पहल की गई है। SDM को निर्देश दिए हैं कि वह अपने अधीनस्थ राजस्व उप निरीक्षक को सख्त निर्देश दे कि वह जमीन की खरीद फरोख्त में लगे भूमाफिया के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करें।

 

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